शुक्रवार, 10 मई 2013

रेलवे में कई और पदों के लिए चल रही थी डील: CBI

रेलवे घूसकांड में फंसे पवन बंसल और उनके भांजे सिंगला की मुसीबतें दिनों-दिन बढ़ती जा रही हैं। सीबीआई नित नए खुलासे कर रही है।
रेलवे घूसकांड की जांच कर रही सीबीआई ने रेलवे के कई और अफसरों को भी जांच में शामिल होने के लिए नोटिस भेजा है।
अब तक की फाइलों की जांच और पवन बंसल के भांजे विजय सिंगला से पूछताछ में सीबीआई को पता चला है कि रेलवे मंत्रालय में कई और पोस्ट बेची जानी थीं। यानी कई और पदों के लिए भी घूसखोरी होनी थी। जिसमें से एक रेलवे कोच फैक्ट्री कपूरथला में सीनियर इंजीनियर के पद के लिए भी पैसा लिया जाना था। जिसके बाद इंजीनियर की पोस्टिंग वहां पर होनी थी।
सीबीआई ने अभी तक रेलवे के कई वरिष्ठ अफसरों को नोटिस भेज कर तलब किया गया है। जिसमें रेलवे बोर्ड के चैयरमैन कुलभूषण भी शामिल हैं। इसके अलाबा जाइंट सेक्रेट्री राजशेखर को भी सीबीआई ने जांच में शामिल होने के लिए कहा गया है।

कर्नाटक: कुल 218 में से 203 विधायक हैं करोड़पति

कर्नाटक विधानसभा के लिए निर्वाचित हर विधायक की औसत संपत्ति 23.54 करोड़ रुपये है जिसमें वर्ष 2008 में हुये चुनाव की अपेक्षा करीब 135 फीसदी ज्यादा है। वर्ष 2008 में प्रत्येक विधायक की संपत्ति 10.02 करोड़ रुपये थी। इस बारे में एक गैर सरकारी संगठन कर्नाटक इलेक्शन वॉच ने बताया कि कुल 218 में से 93 प्रतिशत यानी 203 विधायक करोड़पति हैं।

रेल मंत्री पवन बंसल ने दिया इस्तीफा

नई दिल्ली। रेल मंत्री पवन कुमार बंसल ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया है। खबर के अनुसार सोनिया गांधी और प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह के बीच बैठक के दौरान उनके बारे में फैसला लिया गया।
इससे पहले खबर थी कि रेल मंत्री पवन कुमार बंसल शुक्रवार दोपहर तक अपने मंत्रालय के दफ्तर नहीं आए थे। मंत्रालय से दूरी बनाने के कारण उनकी सरकार से विदाई के अनुमान को बल मिल रहा है।

बकरे की कुर्बानी से कुर्सी बचाना चाहते हैं बंसल

नई दिल्ली। मुसीबत में आदमी क्या-क्या जतन नहीं करता। खराब समय से पीछा छुड़ाने को वह पूजा-पाठ, टोन-टोटके का सहारा लेता है।
मुसीबत के मारे रेल मंत्री पवन कुमार बंसल भी कुछ ऎसा ही कर रहे लगते हैं। रेलवे घूसकांड में फंसे मंत्रीजी की मंत्रिमंडल से छुट्टी तय मानी जा रही है।
एक न्यूज़ चैनल पर दिखाई गई तस्वीरों में यह नजारा देखने को मिला। बंसल को टोटका करते दिखाया गया है। बंसल की पत्नी ने उनकी नजर उतारी। इसके बाद बंसल को बकरे को कुछ खिलाते हुए दिखाया गया है। फिर रेल मंत्री ने बकरे के सिर पर हाथ फेरा। बताया जाता है कि यह बकरा बंसल ने कुछ तांत्रिकों के कहने पर अपनी कुर्सी बचाने के लिए बलि दिये जाने को मंगाया। बकरे की बलि दी गई या नहीं, इसका पता तो नहीं लगा अलबत्‍ता बंसल के लड़के वहां मीडिया को देखकर भड़क उठे। उन्‍होंने मीडियाकर्मियों से अभद्रता भी की।

CBI के चारों ओर एक सरकारी चक्रव्यूह है: सिन्‍हा

नई दिल्ली । सरकार पर देश की सबसे बड़ी जांच एजेंसी सीबीआई का इस्तेमाल करने के आरोप लगते रहे हैं. कोयला घोटाले में सीबीआई के रिपोर्ट को लेकर सरकार के हस्तक्षेप के बाद सुप्रीम कोर्ट ने सख्त टिप्पणी करते हुए कहा था कि सीबीआई सरकार का तोता है.
सुप्रीम कोर्ट की टिप्पणी पर सरकार में तो हरकत शुरू हो गई है. वहीं, खुद सीबीआई निदेशक रंजीत सिन्हा भी मानते हैं कि ये बेहद जरूरी है. रंजीत सिन्हा ने मेल टुडे से बातचीत करते हुए कहा, 'आज मैं हर काम के लिए सरकार पर निर्भर हूं. चाहे लोग चाहिए हों, कोई बुनियादी जरूरत हो या कोई फिर कोई सुविधा चाहिए हो.
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